Best Places to Visit in Dharamshala |
दोस्तों अगर आप दिल्ली में या दिल्ली के आस पास रहते है और आप 2 से 3 दिन का घुमने का प्लान बना रहे है और आपको समझ नहीं आ रहा है कि कहा जाये तो ऐसे में आप हिमांचल प्रदेश के धर्मशाला हिल स्टेशन का प्लान बना सकते है |
दोस्तों धर्मशाला दिल्ली से लगभग 550 किलोमीटर दूर हिमांचल प्रदेश में स्थित है | यह जगह बेहद खुबसूरत है और प्रकृति प्रेमियों को बहुत पसंद आती है, वीकेंड पे काफी भीड़ होती है | यह जगह अपनी प्राकृतिक सुन्दरता के साथ-साथ आध्यात्मिक कारणों से भी लोगो के बीच बहुत लोकप्रिय है | अगर आप इस जगह जाने का प्लान बना रहे है तो उससे पहले जान ले की धर्मशाला में मौजूद बेहद खुबसूरत घुमने लायक जगहों (Place to visit in Dharamshala) के बारे में जहाँ आप दो से तीन दिन में घूम सकते है |
Kareri Lake, Photo by Shivam Kumar |
करेरी झील भारत के हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा जिले में धर्मशाला से लगभग 9 किमी उत्तर-पश्चिम में धौलाधार पहाड़ी रेंज के दक्षिणी किनारे पर स्थित एक ऊंचाई पर ताजे पानी की झील है।
करेरी झील समुद्र तल से 2,934 मीटर (9,626 फीट) की ऊंचाई पर है। इस झील में पानी धौलाधार रेंज पहाड़ी की बर्फ पिघलने से आता है और यही इसके पानी का मुख्य श्रोत है, इसका पानी न्युंड (Nyund) की तरफ बहता है | चूंकि झील का पानी ताजा बर्फ पिघलने से आता है, झील के छिछला यानि की कम गहरा होने और क्रिस्टल क्लियर पानी से कई जगह इसके तल को देखा जा सकता है | दिसंबर से लेकर मार्च-अप्रैल तक झील जमी रहती है इसका पानी बर्फ बन जाता है |
धौलाधार रेंज में करेरी झील ट्रैकिंग करने वाली की पसंदीदा जगह में से एक है | यहाँ झील के किनारे पहाड़ी पर भगवान शिव और शक्ति को समर्पित एक मंदिर है | यहाँ कुछ मकान भी बने मिल जायेंगे जिसका उपयोग यहाँ के चरवाहे करते है |
इस झील की मंत्रमुग्ध कर देने वाली सुंदरता और शांत वातावरण इसे धर्मशाला में देखने के लिए सबसे फेमस जगहों में से एक बनाता है। यह ट्रेकर्स के लिए एक बेस कैंप की जगह भी है, यहाँ से आगे मिंकियानी दर्रे (4250 मीटर) और बलेनी दर्रे (3710 मीटर) के माध्यम से चंबा और भरमौर तक ट्रेकिंग किया जाता है |
क्या करें- झील के किनारे पहाड़ी पे भगवान शिव और काली के मंदिर में दर्शन करे, इसके अलावा वोटिंग, ट्रेकिंग, कैम्पिंग और पिकनिक मनाये |
समय- यह झील 24 घंटे खुली रहती है |
Bhagsunag Temple, Photo by Kunal Kumar |
भागसूनाग मंदिर मैक्लॉड गंज से लगभग 2 किलोमीटर दूर भागसू गांव में मनोरम धौलाधार रेंज की पहाडियों में 5100 साल पुराना हिंदू मंदिर है, यह मंदिर भगवान शिव को समर्पित है | 1905 में आये भूकंप ने इस सदियों पुराने मंदिर के साथ-साथ काँगड़ा घाटी को तबाह कर दिया था | लेकिन आज ये घाटी और मंदिर फिर से अपने पुरानी खूबसूरती में लौट आया है |
यह धर्मशाला में सबसे ज्यादा देखे जाने वाले पर्यटन स्थलों में से एक है, ऊँची ऊँची पहाडियों और घुमावदार रास्तो में बसे इस मंदिर को देखने हर साल हजारो तीर्थयात्री आते है | इस मंदिर के आस-पास की शुन्दरता ने इसे धर्मशाला में सबसे खास घुमने वाली जगह बनाता है |
क्या करें- यहाँ मानव द्वारा बनाये गए पूल में डुबकी लगाने से न चूकें। अगर आप सितंबर में वहां जाते हैं, तो भागसूनाग मंदिर में लगने वाले वार्षिक मेले को देख सकते हैं।
समय- यह मंदिर सुबह 6 बजे से लेकर शाम के 7 बजे तक खुला रहता है |
Bhagsunag Waterfall, Photo by Suveer |
धर्मशाला की मनमोहक सुन्दरता से घिरा हुआ भागसू फॉल हर किसी का मन मोह लेगा, इस स्थान की शांति और मनोरम दृश्य आपके मन को बहुत ही सुकून देती है | यह खुबसूरत पर्यटन स्थल दोस्तों और परिवार के साथ पिकनिक मनाने के लिए एकदम सही स्थान है | यह झरना भागसुनाग मंदिर से कुछ ही दुरी पर स्थित है | इस झरने की मनोरम सुन्दरता मानसून के दौरान और भी बढ़ जाती है जब 20 मीटर की उचाई से फुहारे के साथ दूधिया पानी निचे गिरता है | यहाँ पास में स्थित कैफे और रेस्तरा में बैठकर खाना खाते हुए इसे देखना आपको परम आनंद देगा |
क्या करें- झरने के चारों ओर फैली मंत्रमुग्ध कर देने वाली प्राकृतिक सुंदरता का आनंद ले, इसके ठंडे पानी में नहाये और तरोताजा महसूस करें। यहाँ पिकनिक का आनंद ले |
समय- इसका कोई समय नहीं है।
Namgyal Monestary, Photo by Tripadvisor/prasannjeet |
नामग्याल मठ बौद्ध धर्म का एक प्रमुख शिक्षा केंद्र है जो धर्मशाला के मैक्लोडगंज में स्थित है | मठ में करीब 200 भिक्षु है जो मठ की प्रथाओं, कौशल और परंपराओ की रक्षा करने और उसे बढ़ाने की दिशा में काम करते है | यह प्रशिद्ध मठ तिब्बत की भौगोलिक सीमा के बाहर सबसे बड़ा तिब्बती मंदिर है।
यह जगह धर्मशाला में घुमने के लिए खास है तो इसलिए जब आप धर्मशाला आये तो यहाँ जरुर घुमे |
क्या करें- यहां होने वाले प्रार्थना और मेडिटेशन सेशन को मिस न करें।
समय- यह मठ सुबह 6 बजे से लेकर शाम के 7 बजे तक खुला रहता है और कैफे रोज सुबह 10 बजे से लेकर रात के 10 बजे तक खुला रहता है।
Kangra Fort, Photo by Pinak Dey |
काँगड़ा किला धर्मशाला के सबसे प्रसिद्ध पर्यटन स्थलों में से एक है | यह किला भारत के सबसे पुराने किले में से एक और हिमालय के सबसे बड़े किले के रूप में जाना जाता है | इसका निर्माण लगभग 4 ईस्वी में कटोच के राजा सुशर्मा चंद्र (Susharma Chandra) ने महाभारत की लड़ाई के बाद करवाया था | इस किले का बहुत बड़ा, रहस्यमयी और हैरान कर देने वाला इतिहास है, इसके बारे में जानने के लिए आप इस किले का जरुर देखे और स्थानीय लोगो, गाइड से इसकी कहानियो को सुने | यह धर्मशाला में घुमने के लिए एक बेहतरीन जगह है इसको जरुर घुमे |
क्या करें- मांझी और बाणगंगा नदी और महाराजा सुशर्मा चंद कटोच म्यूजियम को देखें। इसके परिसर में कई प्राचीन मंदिर भी हैं।
समय- यह सुबह 9 से लेकर शाम के 6 बजे तक खुला रहता है |
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धन्यवाद
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